पौड़ी-कोटद्वार-मेरठ एनएच-119 पर ग्रामीणों की भूमि का मुआवजा वितरण को लेकर अवैध वसूली और उत्पीड़न..
जागो ब्यूरो एक्सक्लूसिव:
पौड़ी-कोटद्वार-मेरठ नेशनल हाईवे संख्या-119 पर चौड़ीकरण के लिए सड़क से लगी ग्रामीणों की भूमि के अधिग्रहण के पश्चात मुआवजा दिए जाने को लेकर,गरीब ग्रामीणों से अवैध वसूली और राजस्व दस्तावेजों में नामों के फेरबदल कर मुआवजा कई लोगों में बंटवाने का मामला प्रकाश में आया है,पौड़ी-कोटद्वार-मेरठ नेशनल हाईवे पर लगी तोली ग्राम सभा के मनवर भंडारी ने आरोप लगाया है,कि उनके पिता के नाम को दूसरे व्यक्ति के नाम के साथ जोड़कर कर अन्य लोगों को उनकी भूमिका मुआवजा दिलवाने का प्रयास किया गया,उन्होंने बताया कि नेशनल हाईवे के श्रीनगर खण्ड के अमीन भगवान सिंह पटवाल ने मुआवजा देने के लिए उनसे 40,000 की भी माँग की और न दिए जाने पर दस्तावेजों में घालमेल कर उन्हें तरह-तरह से परेशान किया,जिसके बाद भंडारी ने स्थानीय प्रशासन, नेशनल हाईवे के अधिकारियों,भूतल परिवहन मंत्री एवं प्रधानमंत्री कार्यालय तक का दरवाजा खटखटाया है,इस संबंध में जब उन्होंने “जागो उत्तराखंड” से संपर्क किया तो “जागो उत्तराखंड” ने श्रीनगर स्थित नेशनल हाईवे के अधिशासी अभियंता बिजल्वाण से फ़ोन पर संपर्क किया,जिन्होंने इस मुद्दे को गंभीरता से न लेते हुए अपनी व्यस्तता का हवाला देकर मामले को टाल दिया,जिसके बाद “जागो उत्तराखंड”ने मामला उप जिलाधिकारी पौड़ी श्याम सिंह राणा के समक्ष रखा,जिनके दखल के बाद स्थानीय पटवारी ने अब अपनी रिपोर्ट में यह स्पष्ट कर दिया है कि भूमि मनवर भंडारी की ही है और उन्हें मुआवजा दिया जाना है। इस इलाके में कई लोगों से पांच 5,000 से 10,000 तक की अवैध वसूली कर मुआवजा दिए जाने की भी शिकायत प्राप्त हुई है और ग्रामीणों को अभी भी मुआवजा प्राप्त नहीं हो पाया है,इस बारे में तोली ग्रामसभा की एक गरीब महिला सरोजनी देवी पत्नी स्व.पूरण सिंह ने भी “जागो उत्तराखंड” के समक्ष मुआवजा न मिलने की शिकायत की है,”जागो उत्तराखण्ड” नेशनल हाईवे के उच्च अधिकारियों से निवेदन करता है कि संपूर्ण प्रकरण की पारदर्शिता से जांच करवा कर सभी ग्रामीणों को उनका जायज मुआवजा बंटवाने हेतु आवश्यक कदम उठायें,कंही ऐसा न हो पौड़ी-कोटद्वार-मेरठ हाईवे भी मुआवजा वितरण के नाम पर उत्तराखण्ड में पूर्व में हुये एनएच घोटाले का पार्ट -2 साबित हो!