उत्तराखड में समाज कल्याण विभाग से बड़ी खबर आ रही है। विभाग ने सहायक निदेशक को निलंबित कर दिया है। जिसके आदेश जारी किए गए है। ये कार्रवाई टिहरी से जुड़े मामले में की गई है। बताया जा रहा है उनपर सरकारी धन का गबन करने का आरोप है। जिसमें वह जेल में बंद है । मामले में सुनवाई के बाद कोर्ट ने उन्हें जेल में भेज दिया है। वहीं कोर्ट में अब 22 फरवरी को सुनवाई की अगली डेट तय हुई है।
मीडिया रिपोर्टस के अनुसार समाज कल्याण के सहायक निदेशक कांति राम जोशी को वित्तीय अनियमितता के चलते निलंबित कर दिया है। बताया जा रहा है कि वह दस दिन से जेल में बंद है। जिस वजह से उन्हें निलंबित किया गया है। कांतिराम जोशी टिहरी में वर्ष 2011 से 2013 तक जिला समाज कल्याण अधिकारी पद पर तैनात रहे थे।
कांतिराम पर आरोप है कि टिहरी में तैनाती के दौरान उन्होंने विभागीय शिविरों और विभिन्न कार्यों के नाम पर बिना स्वीकृति सात लाख रुपये खर्च कर दिए। इस खर्च का वह ब्यौरा भी नहीं दे पाए। जांच में पाया गया कि सरकारी धन का गबन किया गया है, जिस पर वर्ष 2020 में तत्कालीन समाज कल्याण अधिकारी अविनाश भदौरिया ने कांतिराम के विरुद्ध नई टिहरी कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था।
नई टिहरी पुलिस ने प्रकरण की विवेचना के बाद एफआर (फाइनल रिपोर्ट) लगा दी थी। तत्कालीन समाज कल्याण अधिकारी अविनाश भदौरिया ने एफआर पर आपत्ति दर्ज कराते हुए कोर्ट से इसे खारिज करने की मांग की थी। प्रकरण पर सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने पुलिस की एफआर को खारिज करते हुए कांतिराम जोशी को न्यायालय में पेश होने के आदेश दिए। 10 फरवरी 2023 को कांतिराम न्यायालय में पेश हुए और जमानत की याचिका लगाई। इसे अस्वीकार करते हुए कोर्ट ने कांतिराम को 14 दिन की न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया था।
गौरतलब है कि जेल में 24 घंटे की अवधि पूरी होते ही संबंधित कार्मिक को निलंबित किए जाने का प्रविधान है। कांतिराम जोशी के जेल में बंद होने की सूचना पहले विभाग को नहीं थी जिस कारण उन्हें अब तक निलंबित नहीं किया गया था।