
फर्जीवाड़ा!उत्तराखण्ड ग्रामीण बैंक कर रहा मकान मालिक का किराया अन्य के खाते में ट्रांसफर..
जागो ब्यूरो रिपोर्ट:
उत्तराखंड ग्रामीण बैंक,पौड़ी की अगरोड़ा शाखा में बैंक का एक अजीबोगरीब कारनामा पेश आया है, दरअसल यहां पर स्थित बैंक की शाखा जो विजय सिंह नाम के व्यक्ति के मकान पर किराये पर संचालित है,का सिंतबर 2019 से किराये का 50%,बैंक, विजय सिंह के भाई वीरेन्द्र कुमार के खाते में ट्रांसफर कर रहा है,विजय सिंह का बैंक पर आरोप है कि बैंक की अगरोडा शाखा के मैनेजर और उसके भाई की मिलीभगत से ऐसा हो रहा है,आरोप है कि इसके लिये विजय सिंह के भाई वीरेन्द्र कुमार ने कुछ समय पूर्व एक फर्जी मुख़्तारनामा बैंक में लगाया है,जिसमें विजय सिंह के फर्जी हस्ताक्षर कर मकान पर दोनों भाइयों का हक बताया गया है,इसी आधार पर बैंक ने लीगल एडवाइस लेकर किराये का 50% भाई के नाम ट्रांसफर करना शुरू कर दिया और विजय सिंह से इस मुख़्तारनामे के बारे में पड़ताल करना तक जरूरी नहीं समझा,जबकि बैंक का रेन्ट एग्रीमेन्ट विजय सिंह के साथ है और मुख्तारनामा बैंक के साथ विजयसिंह के रेंट एग्रीमेंट के समय मौजूद ही नहीं था!यन्हा तक कि विवाद उत्पन्न होने के बाद भी बैंक ने किराये का ट्रांसेक्शन बंद नहीं किया है और अक्टूबर 2020 तक किराया विजय सिंह के भाई के खाते में बदस्तूर ट्रान्सफर हो रहा है,इस बाबत बैंक के शाखा के मैनेजर से सम्पर्क करने पर वह जिम्मेदारी बैंक के क्षेत्रीय प्रबन्धक पर डाल रहे हैं,जबकि क्षेत्रीय प्रबंधक के.सी. बिष्ट भी इस मामले में ली गयी लीगल एडवाइस को आधार बनाकर अपना पल्ला झाड़ रहे है,उधर मामला सुलझते न देख अब विजय सिंह ने मामले की शिकायत पौड़ी के एसडीएम श्याम सिंह राणा से भी कर दी है,जिसपर राणा ने क्षेत्रीय नायाब तहसीलदार से मामले की पड़ताल कर रिपोर्ट पेश करने को कहा है,जाँच में आपराधिक षड्यंत्र की पुष्टि होने पर विजय सिंह का भाई,बैंक मैनेजर,बैंक के आला अधिकारियों के अलावा,फर्जी मुख्तारनामे के आधार पर बैंक को लीगल एडवाइस देने वाला अधिवक्ता भी कानूनी कार्यवाही के घेरे में है!